कोविड प्रबंधन- टेस्ट और टीका में देश में नंबर वन उत्तर प्रदेश

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सर्वाधिक टीका लगाने वाला राज्य बना यूपी।सर्वाधिक टीके की पहली डोज लगाने वाला राज्य बना यूपी।सर्वाधिक टेस्टिंग करने वाला राज्य बना यूपी।आठ जुलाई तक सर्वाधिक नमूनों 6,01,01,058 की जांच यूपी ने की।तीन करोड़ लोगों को पहला डोज लगाने वाला पहला राज्य बना।अब तक लोगों को रिकॉर्ड कुल 3,60,73,523 डोज टीके के लगे।

मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ का यूपी मॉडल कोरोना प्रबंधन में हिट।कासगंज और अलीगढ़ कोरोना मुक्त, 31 जिलों में कुल एक्टिव केस 10 से कम हुए।41 जिलों में नहीं मिला नया संक्रमित, 32 जिलों में महज 10 से कम संक्रमित मिले।आबादी के हिसाब से देश का सबसे बड़ा राज्य होने के बावजूद कुल सक्रिय मामलों में देश में 21 वें नंबर पर यूपी।

दूसरे राज्यों और कई देशों में रोज आ रहे यूपी से कई गुना ज्यादा नए केस।पिछले 24 घंटे में केरल में 13,772, महाराष्ट्र में 9,083, तमिलनाडु में 3,211 और आंध्र प्रदेश में 2,982 नए केस मिले।यूपी में एक्टिव केस घटकर 1697 हुए, करीब सवा दो माह से रोज घट रहे केस।पिछले 24 घंटे में 2,52,568 नमूनों की जांच में महज 90 नए केस मिले, जबकि 162 हुए डिस्चार्ज।

यूपी में रिकवरी रेट 98.6 फीसदी, कुल पॉजिटिविटी दर 2.84 फीसदी हुई।विशेषज्ञों की तमाम आशंकाएं निर्मूल साबित हुईं, जिसमें उन्होंने कहा था कि उत्तर प्रदेश में हर रोज 30 लाख पॉजिटिव केस आएंगे।सीएम योगी के ट्रेस, टेस्ट, ट्रीट के साथ आंशिक कोरोना कर्फ्यू और टीकाकरण का नतीजा।

यूपी में अग्रेसिव टेस्टिंग, माइक्रो कंटेनमेंट जोन, गांवों में निगरानी समितियों के माइक्रो मैनेजमेंट और ट्रीटमेंट से नियंत्रित हुआ कोरोना।पांच मई से विशेष अभियान के तहत 70 हजार से अधिक निगरानी समितियां डोर टू डोर जाकर कर रही स्क्रीनिंग।लक्षणयुक्त बच्चों और युवाओं को अलग-अलग दी जा रहीं निशुल्क मेडिसिन किट।

मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के ‘सबका साथ, सबका विकास, मुफ्त वैक्सीन, सबको वैक्सीन’ के मूल मंत्र पर हो रहा टीकाकरण।जून में एक करोड़ लक्ष्य से अधिक लोगों को एक करोड़ 30 लाख डोज टीके के लगे।18 साल से अधिक आयु वर्ग के लोगों को 1,23,50,991 और 45 साल से अधिक आयु वर्ग के लोगों को 2,04,20,067 डोज टीके के लगे।

डेल्टा प्लस संक्रमण वाले राज्यों से आने वाले लोगों की निगरानी और टेस्टिंग तेज, दूसरे राज्यों से सटे जिलों में जीनोम सिक्वेंसिंग।ऑक्सीजन उपलब्धता में आत्मनिर्भर हो रहा यूपी।138 से अधिक ऑक्सीजन प्लांट लगे, 528 प्लांट पर चल रहा तीव्र गति से काम।मेरठ मंडल में 22 नए ऑक्सीजन प्लांट तैयार, 15 जुलाई तक 37 और 31 जुलाई तक 57 प्लांट लगाए जाएंगे।

मेरठ और गाजियाबाद में 3-3, गौतमबुद्धनगर में 6, बुलन्दशहर में 8 और हापुड़ में 2 नए प्लांट लगे।ऑक्सीजन जेनरेटर के माध्यम से 15 फीसदी ऑक्सीजन की 3300 बेडों पर हो रही आपूर्ति।ग्रामीण और शहरी क्षेत्रों से सटे हर जिले में एक-एक सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र या जिला अस्पताल में लग रहे ऑक्सीजन जेनरेटर्स।

यूपी में अस्पतालों में 9000 से ज्यादा पीडियाट्रिक आईसीयू (पीकू) बेड तैयार।मेडिकल कॉलेजों में 6324 पीकू और इसी तरह जिला अस्पतालों में 1414 पीडियाट्रिक आइसोलेशन और 1265 पीकू बने।हर जिले में होगी आरटीपीसीआर लैब, तीन माह में 30 अन्य जिलों में भी लगेंगीं प्रयोगशालाएं।

देश-दुनिया में हो रही ‘यूपी मॉडल’ की तारीफ।ऑस्‍ट्रेलियाई सांसद ने सीएम योगी के कोविड मैनेजमेंट की हाल ही में प्रशंसा की थी।यूपी मॉडल की सुप्रीम कोर्ट, वर्ल्ड हेल्थ आर्गनाइजेशन, नीति आयोग, बॉम्बे हाईकोर्ट ने भी की थी तारीफ।केंद्र सरकार के सड़क परिवहन और राजमार्ग मंत्रालय ने भी अपनाया यूपी मॉडल।