भरत कुण्ड, सूर्य कुण्ड तथा नन्दी ग्राम का तेजी से विकास कराया जाए-योगी

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मुख्यमंत्री ने अयोध्या धाम के समेकित पर्यटन विकास के सम्बन्ध में कराए जाने वाले कार्यों के प्रस्तुतीकरण का अवलोकन किया।अयोध्या नगरी का विकास इस प्रकार से किया जाए जिससे यहां आने वालों को स्तरीय सुविधाएं प्राप्त हो सकें

अयोध्या धाम में विकास गतिविधियों को गति प्रदान करने के लिए तत्परता से कार्य किए जाने के निर्देश।यातायात की व्यवस्था सुगम हो, इसके लिए सड़कों का चैड़ीकरण कराया जाए।
अयोध्या धाम का विश्व के मानचित्र में अत्यन्त महत्वूपर्ण स्थल है, यहां पर्यटन की असीम सम्भावनाएं हैं।

चौरासी कोसी परिक्रमा मार्ग से सम्बन्धित समस्त कार्य तेजी से कराए जाएं।अयोध्या का विकास सोलर सिटी के रूप में किया जाएपर्यटकों को अयोध्या धाम का भ्रमण कराने के लिए प्रशिक्षित गाइड की व्यवस्था सुनिश्चित की जाए।

भरत कुण्ड, सूर्य कुण्ड तथा नन्दी ग्राम का तेजी से विकास कराया जाए।आवास, नगर विकास, धमार्थ कार्य तथा लोक निर्माण विभाग अन्तर्विभागीय समन्वय स्थापित करते हुए कार्य करें।
श्री मखौड़ा धाम, जनपद बस्ती में पर्यटन सम्बन्धी सभी कार्य निर्धारित समय सीमा में पूर्ण किए जाए।

अयोध्या / लखनऊ , मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कहा कि अयोध्या धाम के महत्व को ध्यान में रखकर केन्द्र व राज्य सरकार अयोध्या को उसके प्राचीन गौरव के अनुरूप प्रतिष्ठित करने के लिए कृतसंकल्पित है। इसके दृष्टिगत अयोध्या में व्यापक स्तर पर विकास कार्य कराए जा रहे हैं। उन्होंने अयोध्या धाम में विकास गतिविधियों को गति प्रदान करने के लिए तत्परता से कार्य किए जाने के निर्देश दिए हैं।

चौरासी लाख योनियों में भटकने से बचने के लिए अयोध्या की चौरासी कोसी य़़ात्रा की हिन्दुओं में काफी मान्यता है। राजा दशरथ की अयोध्या चौरासी कोस में फैली थी। भगवान राम से जुड़े पौराणिक स्थल इसी 84 कोस परिक्रमा मार्ग पर हैं। अयोध्या से 20 किमी उत्तर स्थित बस्ती जिले के मखौड़ा धाम से परिक्रमा यात्रा शुरु होती है।

मुख्यमंत्री लोक भवन में अयोध्या धाम के समेकित पर्यटन विकास के सम्बन्ध में कराए जाने वाले कार्यों के प्रस्तुतीकरण का अवलोकन कर रहे थे। इस अवसर पर उन्होंने कहा कि अयोध्या नगरी का विकास इस प्रकार से किया जाए जिससे यहां आने वालों को स्तरीय सुविधाएं प्राप्त हो सकें। यातायात की व्यवस्था सुगम हो, इसके लिए सड़कों का चैड़ीकरण कराया जाए। उन्होंने कहा कि अयोध्या नगरी के विकास के सभी कार्य योजना बनाकर चरणबद्ध तरीके से किए जाएं।

मुख्यमंत्री ने कहा कि विभिन्न दिशाओं से अयोध्या पहुंचने वाले दर्शनार्थियों की सुविधा के लिए सड़कों का प्रभावी और निर्बाध नेटवर्क तैयार किया जाए। सड़कों के दोनों ओर सभी जनसुविधाओं जैसे-पेयजल, शौचालय इत्यादि की अच्छी व्यवस्था सुनिश्चित की जाए। साथ ही, अपने वाहनों से आने वाले दर्शनार्थियों की सुविधा के लिए विभिन्न स्थलों पर मल्टी लेवेल पार्किंग का निर्माण किया जाए, ताकि लोग सड़क पर वाहन न खड़ा करें। उन्होंने कहा कि बसों इत्यादि की पार्किंग के लिए बड़े बस स्टैण्ड बनाए जाएं।

अयोध्या धाम विश्व के मानचित्र में अत्यन्त महत्वूपर्ण स्थल है। यहां पर्यटन की असीम सम्भावनाएं हैं। इसके दृष्टिगत प्रत्येक स्तर पर रोजगार के अवसर भी है। उन्होंने कहा कि पर्यटकों को अयोध्या धाम का भ्रमण कराने के लिए प्रशिक्षित गाइड की व्यवस्था सुनिश्चित की जाए। उन्होंने कहा कि भरत कुण्ड, सूर्य कुण्ड तथा नन्दी ग्राम का तेजी से विकास कार्य कराया जाए। बैठक में मुख्यमंत्री जी को अवगत कराया गया कि जनपद अयोध्या में घाटों का पुनर्विकास एवं सौन्दर्यीकरण तथा महन्त श्री रामचन्द्र दास परमहंस के समाधि स्थल का विकास कार्य कराया जा रहा है। उन्हें यह भी अवगत कराया गया कि रामघाट स्टेशन के पास मुक्तिधाम का निर्माण कराया जा रहा है।

मुख्यमंत्री ने निर्देशित किया कि चैरासी कोसी परिक्रमा मार्ग से सम्बन्धित समस्त कार्य तेजी से कराए जाएं, जिससे श्रद्धालुओं को परिक्रमा करने में किसी प्रकार की परेशानी न हो। उन्होंने कहा कि श्री मखौड़ा धाम, जनपद बस्ती में पर्यटन सम्बन्धी सभी कार्य भी निर्धारित समय सीमा में पूर्ण किए जाएं। अधिकारियों को निर्देशित किया कि अयोध्या का विकास सोलर सिटी के रूप में किया जाए। अयोध्या में सौन्दर्यीकरण कार्यों को तेजी से पूरा करने के निर्देश देते हुए उन्होंने कहा कि इस सम्बन्ध में आवास, नगर विकास, धमार्थ कार्य तथा लोक निर्माण विभाग द्वारा अन्तर्विभागीय समन्वय स्थापित करते हुए कार्य किया जाए।

मुख्यमंत्री ने अधिकारियों को निर्देश दिए कि अयोध्या में अण्डरग्राउण्ड केबलिंग की व्यवस्था की जाए, ताकि इधर-उधर तार न लटकें। उन्होंने अच्छी मार्ग प्रकाश व्यवस्था सुनिश्चित करने के भी निर्देश दिए। उन्होंने अयोध्या आने वाले दर्शनार्थियों को नगर के अंदर इलेक्ट्रिक कार्ट्स के माध्यम से यातायात की सुविधा उपलब्ध कराए जाने के निर्देश भी दिए। प्रमुख सचिव पर्यटन एवं संस्कृति श्री मुकेश मेश्राम  ने मुख्यमंत्री जी के समक्ष प्रस्तुतीकरण किया।