कड़ाके की ठंड में गरीबों की झुग्गी झोपड़ियों पर चला बुलडोजर

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योगी के अधिकारियों ने कड़ाके की ठंड में चलाया गरीबों की झुग्गी झोपड़ियों पर बुलडोजर। बुजुर्ग, मासूम बच्चे, महिलाओं सहित हजारों लोग हुए बेघर।

लखनऊ। चैन से सोने वाले वीआईपी,वीआईपी नेता,अधिकारी एक बार तो सोच लेते की एक गरीब के लिए झोपड़ी किसी आशियाने से कम नहीं होती।अमीरों पर विधिक रूप से कार्यवाही की जाती है और गरीबों को नोटिस तक भेजने में अधिकारी एक बार नहीं सोचते,लखनऊ जिला प्रशासन के किसी अधिकारी या लखनऊ विकास प्राधिकरण के किसी अधिकारी में थोड़ा भी जनता के प्रति दर्द महसूस करने की क्षमता है तो जा कर देखिए कि वह मासूम बच्चे और महिलाएं आंखों से अंधे बुजुर्ग किस तरीके से इस कड़ाके की ठंड में आज रात गुजारने को मजबूर हैं।

साहब कार्रवाई करनी थी तो कर देते लेकिन एक बार कम से कम उनके लिए कोई ऐसी व्यवस्था की होती जिससे इन सर्दियों में अपने सर को खुले आसमान से बचा सकते,यही कार्रवाई अगर गर्मियों के दिनों में होती तो शायद इन गरीब असहाय लोगों को ठंड का एहसास ना होता,जनता के प्रति हमेशा भावनात्मक लगाव रखने वाले जिलाधिकारी सूर्यपाल गंगवार ने सड़क पर सोने वाले मजदूरों को लेकर के भी ठेकेदारों व बिल्डिंग मालिकों पर FIR कराने का आदेश दिया था। साहब अब ऐसे में किसके ऊपर कार्रवाही की जाएगी। सड़कों पर सोने वालों के साथ अगर कोई घटना होती है तो आखिर उसका जिम्मेदार कौन होगा।