अर्पिता मुखर्जी के घर कैश गिनने मशीन

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अर्पिता मुखर्जी के एक और घर में ईडी की छापेमारी,कैश गिनने के लिए मशीनें भी लाए।

कोलकाता। ममता सरकार के कद्दावर नेता पार्थ चटर्जी की गिरफ्तारी के बाद शिक्षक भर्ती घोटाले से जुड़े नए खुलासे हो रहे हैं। ईडी सूत्रों से जानकारी मिली है कि पार्थ चटर्जी के करीबी सहयोगी अर्पिता मुखर्जी के एक और घर में ईडी के अधिकारी छापेमारी कर रहे हैं। कैश गिनने के लिए ईडी के अधिकारी मशीनें भी लाए हैं। इससे पहले अर्पिता के घर से 21 करोड़ रुपये कैश बरामद हुए थे। जिसे लेने के लिए आरबीआई की ओर से ट्रक भी पहुंचे थे।

अब तक एजेंसी अर्पिता के तीन घरों में छापेमारी की जा चुकी है, जिनमें से दो में उसे उसने 50 करोड़ रुपये कैश और 5 किलो के करीब सोना बरामद किया गया है। ईडी के अधिकारियों के मुताबिक अर्पिता मुखर्जी के दो फ्लैट कोलकाता के क्लब टाउन हाइट्स में हैं। इसके अलावा दो और फ्लैट हैं। सबसे पहले शुक्रवार को एजेंसी ने छापा मारा था, जिसमें 21 करोड़ रुपये कैश और 2 करोड़ रुपये की सोने की छड़ें बरामद हुई थी।

प्रवर्तन निदेशालय के अधिकारी बंगाल के गिरफ्तार मंत्री पार्थ चटर्जी की करीबी सहयोगी अर्पिता मुखर्जी के घर से 21 करोड़ रुपये की नकदी बरामद कर चुके हैं। इस छापेमारी के कुछ दिन बाद अधिकारियों को अर्पिता के एक और घर से पैसों का अंबार मिला है। बताया जा रहा है कि अधिकारी कैश काउंटिंग मशीन अर्पिता के अपार्टमेंट में गए हैं, जहां दोपहर से तलाशी की जा रही है।

कैश और गोल्ड के अलावा एजेंसी का कहना है कि उसे ऐसे दस्तावेज भी मिले हैं, जिससे गड़बड़ी साबित होती है। स्कूल जॉब स्कैम की जांच में ये दस्तावेज एजेंसी के लिए अहम हो सकते हैं। अर्पिता मुखर्जी ने 2008 से 2014 के दौरान बंगाली और उड़िया फिल्मों में ऐक्टिंग की थी। वह एक मिडिल क्लास फैमिली से आती हैं, लेकिन मंत्री के संपर्क में आने के बाद जिंदगी एकदम लग्जरी हो गई थी। इस बीच ममता बनर्जी ने पार्थ पर ऐक्शन के बाद कहा है कि उनकी पार्टी सख्त फैसले लेती है और यदि किसी पर दाग लगता है तो उसे बख्शा नहीं जाता है।


गौरतलब है कि पिछले हफ्ते ईडी के अधिकारियों को अर्पिता मुखर्जी के घर से 21 करोड़ रुपये नकद मिले थे। जांच एजेंसी ने पश्चिम बंगाल में एक कथित शिक्षक भर्ती घोटाले के सिलसिले में अर्पिता मुखर्जी के आवास पर छापा मारा था। बरामद राशि उक्त एसएससी घोटाले के अपराध की आय होने का संदेह है।अर्पिता मुखर्जी ने बाद में ईडी को बताया कि उनके घर से बरामद पैसे बंगाल के मंत्री पार्थ चटर्जी के हैं। उसने एजेंसी को बताया कि उससे जुड़ी कंपनियों में पैसा लगाया जाना था। पूछताछ के दौरान अर्पिता ने बताया कि उसकी योजना एक-दो दिन में उसके घर से नकदी के ढेर को हटाने की थी। लेकिन एजेंसी के छापे ने योजना को विफल कर दिया।