चुनाव पर्यवेक्षक अपने चहेते को जिताने की फिराक में

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यूपी जेल एसोसिएशन के चुनाव में हो सकती धांधली,चुनाव पर्यवेक्षक अपने चहेते को जिताने की फिराक में बगैर तारीख घोषित हुए 30 नवंबर को चुनाव होने की अटकलें।

राकेश यादव

लखनऊ। यूपी जेल एसोसिएशन चुनाव को अटकलों का बाज़ार गर्म है। 10 नवंबर को चुनाव कराए जाने की घोषणा हुई थी। अवकाश होने के कारण चुनाव टाल दिया गया। नई तारीख की अभी कोई घोषणा नही हुई। इसके बावजूद प्रत्याशियों के आरोप है कि चुनाव पर्यवेक्षक चहेते कर्मियों को जिताने के लिए गुपचुप तरीके से 30 नवंबर को चुनाव कराने की फिराक में लगे है। प्रत्याशियों के आरोप है कि अपने चहेते लोगो को जिताने के लिए चुनाव में धांधली करा सकते है। उधर जेल मुख्यालय के अधिकारियों का कहना है कि चुनाव नियमानुसार ही होगा।

मिली जानकारी के मुताबिक जेल मुख्यालय के मुखिया के निर्देश पर यूपी जेल एसोसिएशन का चुनाव 10 नवंबर को कराए जाने की घोषणा हुई थी। छठ पर्व का अवकाश होने की वजह से यह चुनाव टाल दिया गया था। जेल मुख्यालय ने चुनाव के लिये पर्यवेक्षक डीआईजी प्रयागराज-अयोध्या/ निदेशक जेटीएस को बनाया था। चुनाव में किस्मत आजमा रहे प्रत्याशियों का आरोप है इनके रहते निष्पक्ष चुनाव होने की संभावना कम ही नज़र आ रही है। चुनाव टलने के बाद मुख्यालय की ओर से चुनाव के लिए अभी तक कोई नई तारीख की घोषणा नही की है। इसके बावजूद चर्चा है कि चुनाव पर्यवेक्षक अपने चहेते को जिताने के लिये 30 नवंबर को गुपचुप चुनाव कराने की फिराक में है।

चुनाव पर्यवेक्षक बदलने की मांग-

यूपी जेल एसोसिएशन के चुनाव में किस्मत आजमाने वाले प्रत्याशियों का आरोप है नियुक्त पर्यवेक्षक के नेतृत्व में निष्पक्ष चुनाव हो पाना संभव नही है। उन्होंने इनको बदलकर नया पर्यवेक्षक नियुक्त किये जाने की मांग की है। प्रत्याशियों का आरोप है कि अपने चहेते कर्मियों को जिताने के लिये यह कुछ भी कर सकते है।प्रत्याशियों ने दो तीन नामो का खुलासा भी किया कि वह इन्हें एसोसिएशन के चुनाव में महत्वपूर्ण पदों पर बैठाने की फिराक में लगे हुए है। खैर चुनाव में जो कुछ होगा वह तो आने वाला समय बताएगा। फिलहाल इस चुनाव को लेकर सरगर्मियां काफी तेज है।

बताया गया है कि इसके लिए उन्होंने मतदान के लिए प्रदेश भर की जेलो से आने वार्डर पर रोक लगाने के साथ जेटीएस मे प्रशिक्षण प्राप्त कर रहे 150 वार्डर जिनका प्रशिक्षण 26 नवंबर को समाप्त हो रहा है उसको पांच दिन के लिये बढ़ा दिया गया है। प्रत्याशियों का आरोप है कि यह प्रशिक्षण प्राप्त कर रहे वार्डर से मतदान करवाकर अपने चहेतों को जिताने की जुगत में लगे है। उधर जेटीएस के एक अधिकारी ने आरोपों को खारिज करते हुए बताया कि अभी चुनाव के तारीखों की घोषणा हुई नही तो चुनाव कैसे होगा। जहाँ तक रही वार्डर के प्रशिक्षण के पांच दिन बढ़ाने की बात तो दीपावली में पांच दिन का अवकाश पड़ जाने की वजह से इसे बढ़ाया गया है। उन्होंने कहा चुनाव मुख्यालय के निर्देशन पर ही होगा।