लिंग संवेदीकरण पर जागरुकता कार्यक्रम का आयोजन किया

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लखनऊ विश्वविद्यालय, विधि संकाय की प्रतिष्ठित संस्था विधिक सहायता केंद्र व लखनऊ विश्वविद्यालय, महिलाओं के प्रति यौन उत्पीड़न संबंधी आंतरिक शिकायत समिति के संयुक्त तत्वाधान में आज दिनांक (09/05/2022) को इंस्टिट्यूट ऑफ मैनेजमेंट साइंस, लखनऊ विश्वविद्यालय में कार्यक्रम का शुभारंभ विश्वविद्यालय कुलगीत गायन के माध्यम से किया गया।विधिक सहायता केंद्र के सदस्यों ने लिंग संवेदीकरण पर श्रोताओं को जागरूक करते हुए बताया कि समान पारिश्रमिक अधिनियम, 1976 मे समान काम करने वाले महिला-पुरुष को समान वेतन मिलने तथा समान योग्यता होने पर महिलाओं को समान पद पाने का अधिकार हैlसाथ ही यह भी बताया कि हिन्दू उत्तराधिकारी (संशोधन) अधिनियम, 2005 मे बेटियों को भी बेटों के समान पैतृक सम्पत्ति में बराबर का हिस्सेदार माना जाता है l

तत्पश्चात कार्यस्थल पर महिलाओं के यौन उत्पीड़न (रोकथाम,प्रतिषेध,प्रतितोष) अधिनियम 2013 पर विभिन्न दृष्टांतों के माध्यम से विस्तारित विवरण देते हुए पीड़ित महिला, कार्यस्थल, आंतरिक शिकायत समिति, स्थानीय शिकायत समिति के बारे मे विस्तृत जानकारी दीl जिसके द्वारा सभी को विभिन्न लिंगों के प्रति समान दृष्टिकोण रखने के लिए प्रेरित किया गया । साथ ही आन्तरिक शिकायत समिति मे शिकायत दर्ज करने की सही प्रक्रिया भी बताई गयी lकार्यस्थल पर सुरक्षित वातावरण प्रदान करने तथा शिकायत दर्ज करने के लिए आंतरिक शिकायत समिति बनाने की जिम्मेदारी नियोक्ता की है बताकर जागरूक किया lकार्यशाला चलचित्रो के माध्यम से दर्शकों को समाज में हो रहे लिंग आधारित भेदभाव के विरुद्ध खड़े होने एवं सुधार लाने के लिए प्रेरित किया गयाl सभी श्रोताओं को इस अधिनियम के तहत धारा 7 के अंतर्गत गठित आंतरिक शिकायत समिति एवं शिकायत दर्ज करने की संपूर्ण प्रक्रिया के बारे में बताया गया।

अंत में विधिक सहायता केंद्र के छात्र संयोजक अनुपम गुप्ता एवं अन्य सदस्यों द्वारा धन्यवाद ज्ञापित किया गया।कार्यक्रम के मुख्य अतिथि के तौर पर लखनऊ विश्वविद्यालय की आंतरिक शिकायत समिति की सदस्य मानिनी श्रीवास्तव उपस्थित रही और उन्होंने महिला सशक्तीकरण व लिंग संवेदीकरण पर लोगों के दृष्टिकोण पर विशेष व्ख्यान करते हुए उपस्थित सभी लोगों से लैंगिक पूर्वाग्रह कि जड़ों की उत्पत्ति का कारण बतातें हुए आग्रह किया कि हम सभी सामुहिक रूप से लैंगिक भेदभाव को समाप्त कर सकते है कहकर अपनी वाणी को विराम दिया । संपूर्ण कार्यक्रम विधि संकाय के अधिष्ठाता प्रो. डॉ. सी. पी.सिंह व विधिक सहायता केंद्र के अध्यक्ष प्रो. डॉ. मोहम्मद अहमद, तथा आंतरिक शिकायत समिति की चेयरपर्सन प्रो.डॉ मधुरिमा प्रधान के मार्गदर्शन में संपन्न हुआ।