प्रयागराज की धरती धर्म,ज्ञान और न्याय की त्रिवेणी-प्रधानमंत्री

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प्रधानमंत्री ने जनपद प्रयागराज में प्रदेश के 43 जनपदों के202 विकास खण्डों के टेक होम राशन संयंत्रों का शिलान्यास किया । प्रधानमंत्री ने 1.60 लाख महिला स्वयं सहायता समूहों केबैंक खाते में 1,000 करोड़ रु0 की धनराशि अन्तरित की । प्रधानमंत्री ने ‘मुख्यमंत्री कन्या सुमंगला योजना’ की 1.01 लाख नवीन लाभार्थियों के खाते में 20 करोड़ रु0 धनराशि का अन्तरण किया । मुख्यमंत्री ने प्रधानमंत्री को अंगवस्त्र एवं मां दुर्गा की प्रतिमा भेंटकर स्वागत किया । प्रधानमंत्री ने मंच पर आने से पूर्व बैंकिंग काॅरेस्पाॅण्डेंट सखी (बी0सी0 सखी),महिला स्वयं सहायता से जुड़ी बहनों तथा मुख्यमंत्री कन्या सुमंगलायोजना की लाभार्थी बेटियों से संवाद किया । मां गंगा, मां यमुना, मां सरस्वती के पावन तट पर स्थित प्रयागराज की धरती पर धर्म, ज्ञान और न्याय की त्रिवेणी बहती है। मां गंगा, यमुना व सरस्वती की धरती हजारों साल से मातृ शक्ति की प्रतीक रही, आज यह धरा नारी शक्ति के संगम की साक्षी,उ0प्र0 ने बैंकिंग काॅरेस्पाॅण्डेंट सखी का जो अभियान प्रारम्भ किया, वह महिलाओं को रोजगार के अवसर के साथ ही उनके जीवन में बड़े बदलाव ला रहा । बैंकिंग काॅरेस्पाॅण्डेंट सखी बैंक को गांव तक ले आयी, बैंक सखियोंका कार्य बहुत बड़ा, उ0प्र0 सरकार ने इन पर 75 हजारकरोड़ रु0 के लेन-देन की जिम्मेदारी सौंपी । देश देख रहा है कि उ0प्र0 में किस प्रभावी ढंग से कार्य हो रहा,उ0प्र0 में टेक होम राशन जच्चा-बच्चा को देने की तैयारी महिलाओंको सौंपी गयी, यह राशन अब सेल्फ हेल्प ग्रुप की महिलाएं स्वयं बनाएंगी,सालाना हजारों करोड़ रु0 का यह कार्य बहुत बड़ा।

प्रयागराज । भारत के प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने जनपद प्रयागराज में आयोजित एक कार्यक्रम में प्रदेश के 43 जनपदों के 202 विकास खण्डों के टेक होम राशन संयंत्रों का शिलान्यास किया। इस अवसर पर प्रधानमंत्री जी ने 1.60 लाख महिला स्वयं सहायता समूहों के बैंक खाते में 1,000 करोड़ रुपये की धनराशि का अन्तरण किया। उन्होंने मुख्यमंत्री कन्या सुमंगला योजना की 1.01 लाख नवीन लाभार्थियों के खाते में 20 करोड़ रुपये की धनराशि का अन्तरण भी किया। कार्यक्रम के दौरान महिला सशक्तीकरण से सम्बन्धित योजनाओं पर आधारित एक लघु फिल्म भी प्रदर्शित की गयी। कार्यक्रम के प्रारम्भ में प्रधानमंत्री जी को मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ जी ने अंगवस्त्र एवं मां दुर्गा की प्रतिमा भेंटकर स्वागत किया।मोदी ने अपने सम्बोधन के प्रारम्भ में स्थानीय बोली में मां गंगा, मां यमुना, मां सरस्वती के पावन तट पर स्थित प्रयागराज की धरती को प्रणाम करते हुए कहा कि इस धरा पर धर्म, ज्ञान और न्याय की त्रिवेणी बहती है। तीर्थाें के तीर्थ में हमेशा एक अलग पवित्रता और ऊर्जा का एहसास होता है। हिन्दी के प्रसिद्ध आचार्य महावीर प्रसाद द्विवेदी जी की पुण्यतिथि पर उन्हें श्रद्धांजलि अर्पित करते हुए उन्होंने कहा कि द्विवेदी जी प्रयागराज से बही साहित्य की सरस्वती के लम्बे समय तक सम्पादक रहे।


प्रधानमंत्री मोदी ने कहा कि मां गंगा, यमुना व सरस्वती की धरती हजारों साल से मातृ शक्ति की प्रतीक रही है। आज यह धरा नारी शक्ति के संगम की साक्षी बनी है। प्रधानमंत्री जी ने कहा कि मंच पर आने से पूर्व उन्होंने बैंकिंग काॅरेस्पाॅण्डेंट सखी (बी0सी0 सखी), महिला स्वयं सहायता से जुड़ी बहनों तथा मुख्यमंत्री कन्या सुमंगला योजना की लाभार्थी बेटियों से संवाद किया। इन सभी की आत्मविश्वास से भरी बातें ‘प्रत्यक्ष को प्रमाण की जरूरत नहीं होती’ की भांति है। उत्तर प्रदेश में विकास और महिला सशक्तीकरण का काम पूरा देश देख रहा है। आज उन्हें मुख्यमंत्री कन्या सुमंगला योजना की एक लाख से अधिक लाभार्थी बेटियों के खाते में करोड़ों रुपये ट्रांसफर करने का सौभाग्य मिला है। यह योजना गांव-गरीब की बेटियों के भरोसे का बहुत बड़ा माध्यम बन रही है। उत्तर प्रदेश ने बैंकिंग काॅरेस्पाॅण्डेंट सखी का जो अभियान प्रारम्भ किया है, वह महिलाओं को रोजगार के अवसर के साथ ही उनके जीवन में बड़े बदलाव ला रहा है।


सरकार द्वारा डी0बी0टी0 के माध्यम से जो पैसा खाते में आता है, उसे निकालने के लिए बैंक जाने की आवश्यकता नहीं है। बी0सी0 सखी के माध्यम से गांव में घर पर ही मिल जाता है। बैंकिंग काॅरेस्पाॅण्डेंट सखी बैंक को गांव तक ले आयी है। बैंक सखियों का कार्य बहुत बड़ा है। उत्तर प्रदेश सरकार ने इन पर 75 हजार करोड़ रुपये के लेन-देन की जिम्मेदारी सौंपी है। यह बहन-बेटियां गांव में 75 हजार करोड़ रुपये का कारोबार कर रही हैं। पहले जिन बहन-बेटियों के अपने बैंक खाते भी नहीं थे, आज उनके पास डिजिटल बैंकिंग की ताकत है। उन्होंने कहा कि देश देख रहा है कि उत्तर प्रदेश में किस प्रभावी ढंग से कार्य हो रहा है। उत्तर प्रदेश में टेक होम राशन जच्चा-बच्चा को देने की तैयारी महिलाओं को सौंपी गयी है। यह राशन अब सेल्फ हेल्प ग्रुप की महिलाएं स्वयं बनाएंगी। सालाना हजारों करोड़ रुपये का यह कार्य भी बहुत बड़ा और महत्वपूर्ण है। इसके तहत आज टेक होम राशन के 202 संयंत्रों का शिलान्यास किया गया है। इससे किसानों और गांव की महिलाओं को बहुत लाभ होगा। महिला सशक्तीकरण के इन प्रयासों से उत्तर प्रदेश की महिलाओं का जीवन बदलना प्रारम्भ हो गया है। उन्होंने कहा कि सरकार महिला स्वयं सहायता समूहों को जो सहायता दे रही है, आज उन्हें इसकी किस्त के रूप में 1,000 करोड़ रुपये की धनराशि ट्रांसफर करने का अवसर प्राप्त हुआ है। डबल इंजन की सरकार ने उत्तर प्रदेश की महिलाओं को जो सुरक्षा व सम्मान दिया, गरिमा बढ़ायी, वह अभूतपूर्व है।


बेटियां ठीक से पढ़ाई कर सकें, उन्हें स्कूल न छोड़ना पड़े, इसलिए स्कूल में उनके लिए अलग से टाॅयलेट बनाना हो, गरीब से गरीब बेटियों को सैनेट्री पैड सुलभ कराना हो, हमारी सरकार पीछे नहीं रही। सुकन्या समृद्धि योजना के अन्तर्गत ढाई करोड़ बेटियों के खाते खोले गये। यह धनराशि बड़े होने पर उनके सपनों को पूरा कर सके, इसके लिए इस पर ब्याज दर भी ऊँची रखी गयी। स्कूल के बाद कैरियर, घर-गृहस्थी तक हर कदम पर महिलाओं के स्वास्थ्य, सुविधा का ध्यान रखा जा रहा है। स्वच्छ भारत मिशन में बड़ी संख्या में शौचालय, उज्ज्वला योजना में रसोई गैस कनेक्शन, नल से जल की उपलब्धता से उनके जीवन में सुविधा में वृद्धि के साथ ही गरिमा में भी बढ़ोत्तरी हुई है। आयुष्मान भारत योजना से सर्वाधिक लाभ महिलाओं को हुआ है। अस्पतालों में प्रसव हो या अन्य इलाज, पैसे के अभाव में अब उनके जीवन पर संकट नहीं है।
प्रधानमंत्री जी ने कहा कि भारतीय समाज में हमेशा से माताओं-बहनों को सर्वाेपरि स्थान दिया गया है। हमारे यहां परम्परा में सदियों की व्यवस्था में घर और घर की सम्पत्ति पर पुरुषों का अधिकार समझा जाने लगा। हमारी सरकार इस असमानता को दूर कर रही है। प्रधानमंत्री आवास योजना इसका सबसे बड़ा उदाहरण है। इस योजना के अन्तर्गत आवास प्राथमिकता पर महिलाओं के नाम पर बनाये गये हैं। उत्तर प्रदेश में प्रधानमंत्री आवास योजना के तहत लाखों की संख्या में आवास बनाये गये हैं। इनमें से अधिकतर आवास महिलाओं के नाम पर हैं। जिन घरों में पीढ़ियों से महिलाओं के नाम पर कोई सम्पत्ति नहीं थी, वर्तमान में पूरा घर महिला के नाम पर है। यही महिलाओं का सशक्तीकरण एवं विकास है।


केन्द्र सरकार की स्वामित्व योजना के अन्तर्गत देश भर में घरों के मालिकों को उसके कागजात ‘घरौनी’ दी जा रही है। इसके अन्तर्गत भी महिलाओं को प्राथमिकता दी जा रही है। आगामी कुछ वर्षाें में मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ जी की सरकार सर्वे कराकर घरौनी दिये जाने का कार्य पूरा कर लेगी। इसमें घर की महिलाओं, माताओं का नाम होगा। उन्होंने कहा कि रोजगार व आमदनी बढ़ाने के लिए जो योजनाएं संचालित की जा रही हैं। उसमें भी महिलाओं को बराबर का भागीदार बनाया जा रहा है। मुद्रा योजना के अन्तर्गत गांव-गांव में गरीब परिवारों की नयी महिला उद्यमियों को प्रोत्साहित किया जा रहा है। इस योजना के अन्तर्गत दिये गये ऋण में से 70 प्रतिशत महिलाओं को प्रदान किये गये हैं। दीनदयाल अन्त्योदय योजना के जरिये भी बहनों को स्वयं सहायता समूहों से जोड़ा जा रहा है। उन्होंने कहा कि स्वयं सहायता समूह की बहनों को वे आत्मनिर्भर भारत की चैम्पियन मानते हैं। स्वयं सहायता समूह असल में राष्ट्र सहायता समूह है। इसलिए राष्ट्रीय आजीविका मिशन के तहत वर्ष 2014 से पहले के 05 वर्ष में जितनी मदद दी गयी, बीते 07 वर्षाें में उसमें 13 गुना बढ़ोत्तरी की गयी है। पहले स्वयं सहायता समूहों को 10 लाख रुपये का ऋण बिना गारण्टी के उपलब्ध कराया जाता था। अब इसका दोगुना 20 लाख रुपये दिया जा रहा है।


प्रधानमंत्री ने कहा कि कोरोना काल खण्ड में गरीब परिवारों का चूल्हा जलता रहे, इसके लिए मुफ्त राशन की व्यवस्था की गयी। महिलाएं रात की पाली में भी काम कर सकें, इसके लिए नियमों को आसान बनाने का कार्य किया गया है। खदानों में महिलाओं के काम करने पर बन्दिश हमारी ही सरकार ने हटायी है। सैनिक स्कूलों के दरवाजे बेटियों के लिए खोले गये हैं। हमारी सरकार महिला सम्बन्धी अपराधों में त्वरित सुनवाई के लिए करीब 700 फास्ट ट्रैक कोर्ट स्थापित कर चुकी है। मुस्लिम बहनों को उत्पीड़न और शोषण से बचाने के लिए तीन तलाक के खिलाफ कानून हमारी सरकार ने बनाया।डबल इंजन की सरकार बिना किसी भेदभाव के बेटियों के भविष्य को सशक्त करने के लिए निरन्तर काम कर रही है। पहले बेटों की शादी की उम्र कानूनन 21 साल थी लेकिन बेटियों के लिए यह उम्र 18 साल ही थी। बेटियां चाहती थीं कि उन्हें पढ़ाई-लिखाई के लिए समय मिले, बराबर अवसर मिले, इसके लिए बेटियों की शादी की कानूनन उम्र 21 साल करने का प्रयास किया जा रहा है। 05 वर्ष पूर्व उत्तर प्रदेश में सड़कों पर माफिया राज था। बहन-बेटियों का सड़क पर निकलना मुश्किल, स्कूल-काॅलेज जाना मुश्किल था। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ जी ने उन गुण्डों को उनकी सही जगह पर पहुंचाया। आज उत्तर प्रदेश में सुरक्षा, अधिकार, सम्भावनाएं, व्यापार सब हैं।