योगी करेंगे परम्परा का निर्वाह

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योगी करेंगे परम्परा का निर्वाह
योगी करेंगे परम्परा का निर्वाह

मुख्यमंत्री योगी करेंगे परम्परा का निर्वाह, विरासत का करेंगे संरक्षण। मंगलवार शाम भारत सेवाश्रम में स्थापित मां भगवती की प्रतिमा का करेंगे दर्शन-पूजन। स्वतंत्रता संग्राम के नायक सचिंद्रनाथ सान्याल स्मारक का करेंगे शिलान्यास। योगी करेंगे परम्परा का निर्वाह

गोरखपुर। वासंतिक नवरात्र के पावन अवसर पर मंगलवार को गोरखपुर आ रहे मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ अपने प्रवास के दौरान देवी उपासना की सनातन परंपरा का निर्वाह करने के साथ स्वतंत्रता संग्राम से जुड़ी विरासत का संरक्षण भी करेंगे। वह भारत सेवाश्रम में मां भगवती का पूजन करने के साथ अमर सेनानी सचिंद्रनाथ सान्याल स्मारक की आधारशिला रखेंगे। सान्याल का गोरखपुर से गहरा नाता रहा है। उनका निधन कैंट थाने के पीछे वाली गली में, दाउदपुर स्थित आवास में हुआ था। भारत सेवाश्रम उनके परिवार द्वारा दान दी गई जमीन पर ही स्थापित है।

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महानगर में कैंट थाने के पीछे (दाउदपुर) स्थित भारत सेवाश्रम में वासंतिक नवरात्र पर मां भगवती की प्रतिमा स्थापित की जाती है। मुख्यमंत्री गत वर्ष की भांति इस वर्ष भी प्रतिमा पूजन करने मंगलवार शाम पहुंचेंगे। इस दौरान उनके हाथों स्वतंत्रता संग्राम के नायक सचिंद्रनाथ सान्याल स्मारक का शिलान्यास भी किया जाएगा। गोरखपुर से जुड़ी सचिंद्रनाथ सान्याल की यादों को सहेजने के लिए मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ की पहल पर पर्यटन विभाग ने उनके आवास में स्मारक बनाने की कार्ययोजना बनाई है। सान्याल के घर को पर्यटन केंद्र के रूप में विकसित करने के लिए 306 करोड़ 47 लाख रुपये के प्रस्ताव को स्वीकृत कर 1 करोड़ 53 लाख रुपये अवमुक्त भी कर दिए गए हैं। निर्माण कार्यदायी संस्था उत्तर प्रदेश प्रोजेक्ट्स कॉर्पोरेशन लिमिटेड द्वारा कराया जाएगा। स्मारक में सान्याल की प्रतिमा भी स्थापित की जाएगी। स्मारक में पर्यटकों की सुविधा के लिए सभी जरूरी व्यवस्थाएं होंगी।

गोरखपुर और कुशीनगर को हजारों करोड़ रुपये के विकास कार्यों की सौगात देने आ रहे सीएम योगी नवरात्र की अलग अलग तिथियों पर गोरखनाथ मंदिर में अनुष्ठान के कार्यक्रमों में भी सम्मिलित होंगे। नवमी तिथि पर 30 मार्च (गुरुवार) को गोरखनाथ मंदिर में वह कन्या पूजन कर गोरक्षपीठ की परंपरा को आगे बढ़ाएंगे। कन्या पूजन में देवी स्वरूपा कन्याओं का पांव पखारने के बाद उन्हें भोजन कराकर दक्षिणा व उपहार प्रदान करेंगे। नवमी तिथि पर हवन के साथ श्रीराम जन्मोत्सव (श्रीराम नवमी) का कार्यक्रम भी संपन्न होगा।