लखनऊ। लर्निंग ड्राइविंग लाइसेंस बनवाने के लिए आरटीओ कार्यालय की दौड़ नहीं लगानी पड़ेगी।मंगलवार को लोकभवन में 100 दिनों के लक्ष्य को लेकर परिवहन मंत्री दयाशंकर सिंह ने प्रेस कॉन्फ्रेंस किया। उत्तर प्रदेश में अब लर्निंग ड्राइविंग लाइसेंस बनने की प्रक्रिया के फर्जीवाड़ा में लगाम लगेगी। परिवहन मंत्री दयाशंकर सिंह ने स्पष्ट निर्देश दिया है कि प्रदेश में अब लर्निंग ड्राइविंग लाइसेंस ऑनलाइन प्रक्रिया से ही बनेंगे। उन्होंने बताया कि उनके तीन माह के कार्यकाल के दौरान परिवहन निगम ने मुनाफा कमाया है।
अब लर्निंग लाससेंस बनाने की प्रक्रिया को आसान कर दिया गया है।अब किसी को भी लर्निंग ड्राइविंग लाइसेंस बनवाने के लिए आरटीओ कार्यालय की दौड़ नहीं लगानी पड़ेगी। लर्निंग ड्राइविंग लाइसेंस बनवाने के लिए आधार नंबर के जरिए ऑनलाइन आवेदन करने के बाद घर बैठकर आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस पर आधारित ऑनलाइन टेस्ट पास करना होगा। परमानेंट ड्राइविंग लाइसेंस भी अब सिम्युलेटर पर टेस्ट देने के बाद ही बनाए जाएंगे।
सरकार पीपीपी मॉडल पर हर जिले में ऑटोमेटिक ड्राइविंग टेस्टिंग ट्रैक बनवा रही है। इसमें सिमुलेटर पर टेस्ट लिया जाएगा। कोई व्यक्ति ना तो किसी को पास कर पाएगा और ना ही फेल कर पाएगा। सारा काम कंप्यूटर के जरिए आटोमेटिक होगा।सुरवाती दौर में अभी थोड़ी दिक्कत आ रही है लेकिन जल्द सब ठीक हो जाएगा।परिवहन विभाग पहले 1400 करोड़ के घाटे में था इधर तीन महीने में 300 करोड़ रूपए तीन महीनो में कमाए है तत्कालीन व्यवस्था हर विभागों में की जा रही है वही परिवहन विभाग में भी आउट सोर्सिंग की व्यवस्था की है हमारे विभाग में 1000 हजार कर्मियों की कमी है जिसको जल्द से जल्द पूरी की जाएगी।