आजम ने राजनीति के बजाय परिवार को दी तरजीह..!

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आजम ने राजनीति के बजाय परिवार को दी तरजीह..!
आजम ने राजनीति के बजाय परिवार को दी तरजीह..!

आजम ने राजनीति के बजाय परिवार को दी तरजीह..! नियमों को देखते हुए कांग्रेस अध्यक्ष की नहीं कराई गई मुलाकात। कैदी की सहमति के बगैर नहीं कराई जा सकती मुलाकात।

आर.के.यादव

लखनऊ। परिवार से बढक़र राजनीति नहीं होती है। पहले परिवार फिर राजनीति होगी। गुरुवार को सीतापुर जेल में बंद समाजवादी पार्टी के वरिष्ठ नेता एवम पूर्व मंत्री आजम खान ने ऐसा ही संकेत दिया है। प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष से न मिलकर जेल नियमो के साथ ही परिवार को तरजीह दी है। यही वजह है कि सीतापुर जेल पहुंचकर आजम खान से मुलाकात करने गए प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष को बैरंग ही वापस लौटना पड़ा। उधर राजनीतिक गलियारों में मुलाकात नहीं होने को लेकर तमाम तरह के कयास लगाए जा रहे है। आजम ने राजनीति के बजाय परिवार को दी तरजीह..!

कैदी की सप्ताह में सिर्फ एक मुलाकात का प्रावधान – सीतापुर जेल अधीक्षक सुरेश सिंह ने बताया कि जेल में सजायाफ्ता कैदियों की नियमानुसार सप्ताह में सिर्फ एक मुलाकात कराने का नियम है। बुधवार को आजम के बेटे ने मुलाकात कर ली है। अब अगली मुलाकात अगले सप्ताह ही हो सकती है। उन्होंने कहा कि बंदी जिस व्यक्ति से नहीं मिलना चाहता है वह उससे उसको नहीं मिला सकते है। आजम खान जेल के नियमों से भली भांति परिचित है। वह सिर्फ अपने परिवार के सदस्यों से मिलना चाहते हैं। उन्होंने किसी अन्य नेता से मिलने से मना कर दिया है।

आगामी लोकसभा चुनाव को लेकर इनदिनों राजनीति दलों में घमासान मचा हुआ है। सभी दल दलित और अल्पसंख्यकों को अपने पाले में करने की कवायद में लगे हुए है। विपक्षी दलों के इंडिया गटबंधन में मची ऊहापोह के बीच अल्पसंख्यक मतदाताओं में मजबूत पकड़ रखने वाले सपा नेता आजम खान से प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष ने जेल प्रशासन से मुलाकात कराए जाने का आग्रह किया। प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष के आग्रह के कुछ समय बाद जेल प्रशासन के अधिकारियों ने मुलाकात कराए जाने से इंकार कर दिया। सूत्रों के मुताबिक प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष के आग्रह के बाद जेल प्रशासन के अधिकारियों ने इसकी सूचना आजम खान को दी गई। सपा नेता आजम खान ने प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष से मिलने से इंकार कर दिया।

जेल नियमों के मुताबिक जेलों में विचाराधीन बंदियों की सप्ताह में दो और सजायाफ्ता कैदियों की एक पाक्षिक (15 दिन ) में दो मुलाकात कराए जाने का प्रावधान है। इन नियमों के अनुसार सजायाफ्ता कैदी आजम खान की दो मुलाकात कराई जा सकती है। बुधवार को आजम खान का बेटा मुलाकात कर चुका था। गुरुवार को प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष से मुलाकात कर लेते तो आने वाले 13 दिन किसी भी अन्य (परिजन) से मुलाकात नहीं कर सकते थे। जेल नियमों और परिजनों को तरजीह देते हुए आजम खान ने राजनीतिक मुलाकात करने से इंकार कर दिया। आजम ने राजनीति के बजाय परिवार को दी तरजीह..!