मनीष मर्डर केस अखिलेश ने मीनाक्षी से की मुलाकात, 20 लाख की आर्थिक मदद की घोषणा

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अखिलेश यादव ने मनीष गुप्ता की पत्नी मीनाक्षी से मुलाकात की।इस दौरान उनके बेटे से अखिलेश ने पूछा कि बेटा क्या नाम है तुम्हारा? पढ़ाई चल रही है? अचानक इतनी भीड़ देखकर बच्चा अपनी मम्मी के पास दुबक गया. इस पर मीनाक्षी ने कहा कि ये भी मामा हैं। मनीष गुप्ता की पत्नी मीनाक्षी से मुलाकात के बाद अखिलेश यादव ने परिवार के बाकी सदस्यों से मुलाकात की, इस दौरान मनीष के परिजनों ने कहा, ‘हम लोगों को रिपोर्ट लेने से मना कर दिया, इसलिए हम लोगों को बहुत देर लगी, हम लोगों ने कहा डेड बॉडी का सम्मान करो, पुलिस आ जाए लेकिन सारे पुलिस वाले एक तरफ थे। ‘अखिलेश यादव ने ट्वीट कर लिखा था कि गोरखपुर में पुलिस की बर्बरता ने एक युवा व्यापारी की जान ले ली, ये बहुत ही दुखद और निंदनीय है। उ0प्र0 की भाजपा सरकार ने एनकाउंटर की जिस हिंसक संस्कृति को जन्म दिया है, ये उसी का दुष्परिणाम है । संलिप्त लोगों पर हत्या का मुक़दमा चले और उप्र को हिंसा में धकेलने वाले इस्तीफ़ा दें ।

समाजवादी पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष एवं पूर्व मुख्यमंत्री अखिलेश यादव ने कानपुर में मृतक व्यापारी मनीष गुप्ता की पत्नी मीनाक्षी गुप्ता तथा उनके परिजनों से मिलकर उनका दर्द बांटा। उन्होंने श्री गुप्ता की गोरखपुर में पुलिस की बर्बर पिटाई से मौत को दुःखद बताते हुए शोक संतप्त परिवार के प्रति हार्दिक संवेदना व्यक्त की।अखिलेश यादव ने समाजवादी पार्टी की ओर से मृतक की पत्नी को 20 लाख रुपए की आर्थिक मदद देने की घोषणा की। उन्होंने सरकार से पीड़ित परिवार को 2 करोड़ रूपये की मदद तथा मृतक की पत्नी को क्लास टू या क्लास थ्री की नौकरी देने के लिए कहा। उन्होंने कार्यवाही में भी सहयोग करने का आश्वासन दिया। व्यापारी की मौत हाईकोर्ट के सिटिंग जज की मानीटरिंग में सीबीआई से कराने तथा दोषी पुलिस कर्मियों को कड़ी से कड़ी सजा दिए जाने की भी मांग की। उन्होंने कहा पीड़ित परिवार को सुरक्षा की जिम्मेदारी पुलिस की है।


शोकग्रस्त परिवार से मुलाकात के बाद मीडिया से अखिलेश यादव ने कहा भाजपा सरकार में पुलिस सुरक्षा नहीं कर रही है, वह लोगों की जान ले रही है। उत्तर प्रदेश में पुलिस का ऐसा व्यवहार किसी की सरकार में देखने को नहीं मिला। भाजपा राज में ऐसी घटनाएं लगातार हो रही है। भाजपा सरकार में पुलिस लगातार हत्या और लूट में शामिल है। इस सरकार की नीयत ही साफ नहीं है। पुलिस हिरासत में मौतें हो रही हैं। मानवाधिकार आयोग ने सबसे ज्यादा नोटिस दी हैं।श्री यादव ने कहा कि भाजपा जब पुलिस और डीएम से गलत काम कराएंगे तो अंजाम यही होगा। पुलिस और अधिकारियों पर इसलिए कार्यवाही नहीं हो रही है क्योंकि सरकार ने इन्हीं से गलत काम कराए हैं। जिन्होंने यह घटना की है ये मामूली लोग नहीं है। जानकारी मिली है कि उन्नाव में और गोरखपुर में इसी तरह की घटनाएं हुई हैं। न्याय मिलना तब तक मुश्किल है जब तक न्यायिक जांच न हो। भाजपा राज में न्याय की उम्मीद नहीं की जा सकती है।

अखिलेश यादव ने कहा कि सच को मारने का काम भाजपा सरकार करती है। व्यापारी हत्याकांड में शामिल अधिकारी ऐसा है जिसने अमरोहा में बूथ लुटवाए थे। गोरखपुर में निष्पक्ष जांच सम्भव नही। इसलिए जांच कानपुर में होनी चाहिए।श्री यादव ने कहा कि मनीष गुप्ता के साथ जो घटना घटी उसकी कोई कल्पना नहीं कर सकता है। यह घटना दुःखद और अकल्पनीय है। भाजपा सरकार में पुलिस का स्तर संवेदना के शून्य स्तर से भी नीचे जा चुका है। मृतक मनीष गुप्ता की हत्या के बाद पुलिस को उनके बच्चे पर भी दया नहीं आई। रास्ते भर बच्चा भूख से तड़पता रहा लेकिन पुलिसवालों ने गाड़ी नहीं रोकी। इससे ज्यादा शर्मनाक और क्या हो सकता है। भाजपा सरकार ने तो अत्याचार की सारी हदें पार कर दी हैं।

गोरखपुर में पुलिस की पिटाई के बाद जान गंवाने वाले कानपुर के व्यापारी मनीष गुुप्ता के स्वजन से मिलकर लौटे पूर्व मुख्यमंत्री सपा राष्ट्रीय अध्यक्ष अखिलेश यादव का कार्यकर्ताओं ने अलग-अलग स्थानों पर स्वागत किया। इस बीच उन्होंने कार्यकर्ताओं से कहा कि प्रदेश की भाजपा सरकार के राज में ठोको नीति वाली पुलिस ने मुख्यमंत्री के गृह जनपद में एक निर्दोष व्यापारी की पीट-पीटकर हत्या कर दी। प्रदेश में भ्रष्टाचार, गुंडाराज चरम पर है। इस सरकार के खिलाफ जनता के बीच में जाएं और जनता को इस झूठी सरकार की नीतियां बताएं। अपने अपने बूथ पर ज्यादा से ज्यादा नए मतदाताओं का नाम बढ़वाने में पार्टी कार्यकर्ता मदद करें।

मनीष गुप्ता कानपुर के रहने वाले प्रॉपर्टी डीलर थे, लेकिन गोरखपुर में पुलिस द्वारा की गई पिटाई में उनकी मौत हो गई,इस मामले में तीन पुलिसवालों समेत कुल 6 लोगों पर हत्या का केस दर्ज हुआ है. इसके अलावा 6 पुलिसवालों को सस्पेंड भी किया गया है।