निवेश मतलब उत्तर प्रदेश

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निवेश मतलब उत्तर प्रदेश
निवेश मतलब उत्तर प्रदेश

निवेश मतलब उत्तर प्रदेश

उत्तर प्रदेश अब निवेश का सुरक्षित गंतव्य होगा। उत्तर प्रदेश के सभी 75 जनपदों में जिस से 33.5 लाख करोड़ का निवेश प्राप्त हुआ है।उत्तर प्रदेश को उत्तम प्रदेश बनाने के लिए ग्लोबल इन्वेस्टर्स समिट-2023 में कुल 33.50 लाख करोड़ के एमओयू पर हस्ताक्षर हुए। इसमें सबसे ज्यादा निवेश नवीनीकृत ऊर्जा में हुआ जिसका एमओयू 4,47,310 करोड का हुआ। ग्लोबल इन्वेस्टर्स समिट में 33.50 लाख करोड़ के निवेश से लगभग 93,82,607 को रोजगार मिलने की संभावना है। देश के विकास के अमृतकाल में यूपी का महत्त्वपूर्ण योगदान होगा। उत्तर प्रदेश में वैश्विक निवेशक सम्मेलन (GIS) ने निवेश प्रस्तावों के मामले में रिकॉर्ड बनाया है। GIS के दौरान उत्तर प्रदेश को 33.50 लाख करोड़ रुपये के निवेश प्रस्ताव प्राप्त हुए हैं। इस दौरान करीब 17,000 MoU पर हस्ताक्षर किए गए हैं।

यूपी ग्लोबल इन्वेस्टर्स समिट-2023 के वैश्विक महाकुंभ में प्रदेश को 33.50 लाख करोड़ रुपये के निवेश प्रस्ताव मिले हैं पहले निवेश का मतलब सिर्फ एनसीआर होता था जबकि इस सम्मेलन में प्रदेश के सभी 75 जनपदों के लिए निवेश मिले हैं। कमजोर समझे जाने वाले पूर्वांचल और बुंदेलखंड में भी भारी निवेशआया है। पूर्वांचल में 9.54 लाख करोड़ तथा बुंदेलखंड में 4.28 लाख करोड़ रुपये के निवेश प्रस्ताव मिले हैं। मुख्यमंत्री ने कहा कि एमओयू (समझौता ज्ञापन) से लेकर निवेश को धरातल पर उतारने तक के चरणों में उद्यमियों की सहायता के लिए निवेश सारथी, निवेश मित्र, मुख्यमंत्री उद्यमी मित्र और प्रोत्साहन निगरानी तंत्र जैसे पारदर्शी एकल खिड़की तंत्र बनाए गए हैं। उत्तर प्रदेश में 95 लाख से ज्यादा MSME हैं जो देश में सबसे अधिक हैं। MSME सबसे ज्यादा रोजगार पैदा करता है। प्रदेश के निर्यात को बढ़ाने में एक जिला एक उत्पाद (ODOP) का भी महत्त्वपूर्ण योगदान रहा है। यह निवेशकों के लिए भी आकर्षक है। निवेशक सम्मेलन में महिला उद्यमियों को भी खासा प्रोत्साहन दिया गया जो अच्छी बात है।

उत्तर प्रदेश निवेश की परियोजनाओं से प्रदेश में 93 लाख से ज्यादा लोगों को नौकरी मिलेगी। “यूपी विश्व का सबसे बड़ा श्रम बाजार बना है, योग्य व हुनरमंद नौजवान यहां की पहचान हैं। यूपी सरकार की 25 सेक्टोरियल पॉलिसी के तहत उद्यमी यहां निवेश के लिए रूची रख रहे हैं।” उत्तर प्रदेश असीम संभावनाओं का प्रदेश है और GIS ने औद्योगिक निवेश की संभावनाओं को आगे बढ़ाया है। GIS में 40 देशों के उद्यमी आए और 10 देश पार्टनर कंट्री बने जिनमें नीदरलैंड, इटली, यूएई, यूके, डेनमार्क, सिंगापुर, ऑस्ट्रेलिया, मॉरीशस व सिंगापुर आदि शामिल हैं। देश व दुनिया के करीब 25,000 लोग इस GIS का हिस्सा बने। यूपी अब निवेश का भी हब बन गया है। निवेश करने वाले सभी को नीतियों के हिसाब से समय पर प्रोत्साहन, रियायत व अन्य लाभ मिले इसके लिए भी प्रदेश सरकार ने व्यवस्था की है।

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सिंगापुर के उद्यमियों ने 29 हजार करोड़ के 20 एमओयू पर किए हस्ताक्षर


सिंगापुर के उद्यमियों से मुलाकात के दौरान मुख्यमंत्री ने प्रदेश सरकार के विजन को साझा करते हुए कहा कि प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के मंत्र रिफार्म, परफार्म और ट्रांसफार्म को आत्मसात कर यूपी देश के ग्रोथ इंजन की भूमिका निभाने को तैयार है। यह भी कहा कि उत्तर प्रदेश में निवेश का मतलब भारत की अर्थव्यवस्था को तेज करना है। जीआइएस में सिंगापुर के उद्यमियों ने 29 हजार करोड़ के 20 एमओयू पर किए हस्ताक्षर किए हैं। नीदरलैंड के उच्चायुक्त ने कहा कि खाद्य, ऊर्जा, मैन्यूफैक्चरिंग सेक्टर में उत्तर प्रदेश में अपार संभावनाएं हैं। नीदरलैंड की कंपनियां का यूपी में निवेश का सिलसिला बना रहेगा। सिंगापुर के प्रतिनिधिमंडल से मुलाकात के क्रम में मुख्यमंत्री ने कहा कि भारत की आजादी में सिंगापुर का महत्वपूर्ण योगदान है। पार्टनर कंट्री के तौर पर सिंगापुर जीआइएस-23 से जुड़ने वाला सबसे पहला देश है। जिस तरह से निवेशक यूपी में निवेश कर रहे हैं 2027 तक उत्तर प्रदेश अपनी अर्थव्यवस्था को वन ट्रिलियन डालर बनाने में सफल रहेगा। योगी ने कहा कि यूपी में अध्यात्म और ईको टूरिज्म में अपार संभावनाएं हैं। उत्तर प्रदेश प्राचीन काल से ही आध्यात्मिक सांस्कृतिक विरासत से समृद्ध रहा है। विश्व की सबसे प्राचीन नगरी काशी का बाबा विश्वनाथ धाम पूरी दुनिया को आकर्षित करता है। मर्यादा पुरुषोत्तम श्री राम की जन्मभूमि अयोध्या हो या कान्हा का मथुरा वृंदावन यूपी में ही है। गंगा जमुना और सरस्वती की त्रिवेणी कुंभ के धरती प्रयागराज भी यूपी में, भगवान बुद्ध की साधना स्थली बाल काल का क्षेत्र प्रथम उपदेश की प्रथम भूमि और महापरिनिर्वाण स्थली भी यूपी के सौभाग्य में शामिल है। या विद्या की धरती है तो विशिष्ट पहचान रखने वाले परंपरागत उद्यम के आकर्षण का केंद्र है। उत्तर प्रदेश की भूमि दुनिया की सबसे उर्वरा भूमि है। दुनिया के किसी भी राज्य की सबसे बड़ी आबादी उत्तर प्रदेश में निवास करती है सबसे बड़ी युवा शक्ति उत्तर प्रदेश में ही है।

यूपी में निवेश को बढ़ाएगा सिंगापुर


17 उद्यमियों के साथ योगी से मुलाकात करने पहुंचे सिंगापुर के उच्चायुक्त साइमन वांग ने कहा कि हमने 29 हजार करोड़ के 20 एमओयू साइन किए हैं। उन्होंने कहा कि हमारे यहां के उद्यमी शिक्षा, स्मार्ट सिटी, सेफ सिटी, वेस्ट मैनेजमेंट, डाटा सेंटर सहित कई अन्य क्षेत्रों में निवेश कर रहे हैं। उन्होंने यूपी की औद्योगिक नीति की सराहना करते हुए कहा कि सरकार की तरफ से जिस तरह से निवेशकों को सहयोग मिल रहा है उससे अन्य निवेशक भी यहां निवेश करेंगे।

युवा शक्ति के स्किल को अपग्रेड करने से ही होगा राष्ट्र निर्माण -वॉरेन हैरिस

टाटा टेक्नोलॉजीज के सीईओ वॉरेन हैरिस ने कहा कि मेरा सौभाग्य है कि मुझे उत्तर प्रदेश में आने का अवसर मिला। इंजिनियरिंग और टेक्नोलॉजी कंपनी होने के नाते हमारी कंपनी का फोकस यहां के युवाओं को इस क्षेत्र में बेहतर बनाना है। उन्होंने कहा कि हमने जो mou का आदान-प्रदान किया है उसके तहत यूपी की 150 आईटीआई का उन्नयन करेंगे। साथ ही हम इन आईटीआई में हमारी कंपनी की तरफ से न्यू ऐज के 11 दीर्घकालीन ट्रेड्स और 23 नवीन अल्पकालीन कोर्सेज चलाए जाएंगे। हमारा उद्देश्य यहां के युवाओं के कौशल का विकास कर उन्हें रोजगार से जोड़ना है। उन्होंने कहा कि टाटा ग्रुप अपने संस्थापक जमशेदजी टाटा के आदर्शों को ध्यान में रखते हुए राष्ट्र निर्माण में अग्रणी भूमिका निभाता रहा है। हमारा मानना है कि राष्ट्र का निर्माण युवा शक्ति के स्किल को लगातार अपग्रेड करने से ही संभव हो सकता है।


₹5472 करोड़ से अपग्रेड होंगे यूपी के 150 आईटीआई। योगी के सामने टाटा ग्रुप और प्रदेश सरकार के बीच एमओए। प्रदेश का कौशल विकास विभाग आज से एक नए युग में प्रवेश कर रहा है। प्रदेश के युवाओं के कौशल को निखारने के लिए नया मंच मिलेगा। इंडस्ट्री 4.0 के लिए आईटीआई को अपग्रेड करेगा टाटा टेक्नोलाजीज लिमिटेड। हर साल 35 हजार युवाओं को इंडस्ट्रियल स्किल से किया जाएगा ट्रेंड। युवाओं के कौशल को निखारने के लिए योगी सरकार की टाटा ग्रुप के साथ बड़ी पहल। आईटीआई में लगाई जाएंगी वर्ल्डक्लास अत्याधुनिक मशीनें एवं संयंत्र।प्रदेश सरकार टाटा टेक्नोलॉजीज के साथ ₹5472 करोड़ रुपये का एमओए साइन कर रही है।प्रदेश के युवाओं को इंडस्ट्री और बाजार की डिमांड के अनुसार अपना कौशल निखारने के लिए अब कहीं और नहीं भटकना पड़ेगा। प्रदेश का कौशल विकास विभाग आज से एक नए युग में प्रवेश कर रहा है। हमारी सरकार ने इंडस्ट्री 4.0 के हिसाब से हमारी युवा शक्ति को अपग्रेड करने के लिए आज टाटा टेक्नोलॉजीज के साथ प्रदेश के 150 आईटीआई को अपग्रेड करने के लिए पांच हजार करोड़ से ज्यादा का एमओए साइन किया है। इस मेमोरेंडम ऑफ एग्रीमेंट (एमओए) के साथ प्रदेश के युवाओं के कौशल को निखारने के लिए नया मंच मिलेगा।

प्रधानमंत्री श्रम योगी मानधन योजना के अंतर्गत अब तक प्रदेश के 6,66,225 स्किल्ड वर्कर्स को रजिस्टर्ड किया जा चुका है। इसके अलावा रोजगार संगम योजना के अंतर्गत अबतक 22 हजार से भी ज्यादा युवाओं को प्रशिक्षित करने का पूरा हो चुका है।UP में सबका सपना हो रहा साकार,योगी राज में हर हाथ को हुनर का सपना हो रहा साकार।कौशल विकास मिशन के अंतर्गत अबतक 16.50 लाख युवा विभिन्न ट्रेड में प्रशिक्षित किये गये।4.62 लाख से अधिक युवाओं को मिला रोजगार।ऋण प्रवाह अभियान के अंतर्गत अब तक 37 हजार करोड़ ऋण वितरित कर चुकी है योगी सरकार।

यूपी में डेरी, फिशरीज, फूड प्रोसेसिंग सेक्टर में अनेक संभावनाएं


उत्तर प्रदेश में यूपी डेरी, फिशरीज, एग्रीकल्चर फूड फूड प्रोसेसिंग सेक्टर में अनेक संभावनाएं हैं। फल और सब्जियों को लेकर उत्तर प्रदेश में बहुत विविधता है। यह एक ऐसा सेक्टर है जिसमें अभी भी प्राइवेट सेक्टर की हिस्सेदारी बहुत सीमित है। उन्होंने बताया कि फूड प्रोसेसिंग के लिए प्रोडक्शन लिंक इंसेंटिव स्कीम लाई गई। इसका लाभ जरूर उठाना चाहिए। कहा कि आज सरकार का यह प्रयास है प्राइमरी इनपुट से लेकर पोस्ट हार्वेस्ट मैनेजमेंट तक एक आधुनिक व्यवस्था किसानों के लिए बने। छोटे इन्वेस्टर्स, एग्री इंफ्रा फंड का उपयोग कर सकते हैं। इसी प्रकार देशभर में बहुत बड़ी भंडारण क्षमता विकसित करने के लिए बजट में प्रावधान कर दिया गया है। यह भी छोटे निवेशकों के लिए बहुत बढ़िया मौका है।

इतिहास सृजन के साक्षी बने वैश्विक ख्याति के उद्यमी,वैश्विक ख्याति के कई प्रमुख उद्यमी यूपी जीआईएस-2023 में योगी सरकार द्वारा निवेश और उद्योग जगत में सृजित नए इतिहास के साक्षी बने। लखनऊ के ग्राउंड ब्रेकिंग सेरेमनी में माइक्रोसॉफ्ट कंपनी अपने सॉफ्टवेयर सेंटर की रखेगी नींव,  ₹2,100 करोड़ के निवेश से सॉफ्टवेयर सेंटर बनने के बाद युवाओं को रोजागर के नहीं जाना पड़ेगा यूपी के बाहर।

75 हजार करोड़ का निवेश करेगी रिलायंस इंडस्ट्रीज-मुकेश अंबानी


देश की सबसे बड़ी कंपनी रिलायंस इंडस्ट्रीज के मालिक मुकेश अंबानी ने अगले चाल वर्षों के दौरान उत्तर प्रदेश में 75 हजार करोड़ रुपये के निवेश की घोषणा की है। इस निवेश से करीब एक लाख नए रोजगार पैदा होने का अनुमान है। लखनऊ में आयोजित “यूपी ग्लोबल इन्वेस्टर्स समिट” में बोलते हुए मुकेश अंबानी ने दावा किया कि 5 वर्षों के भीतर ही उत्तर प्रदेश एक ट्रिलियन डॉलर की अर्थव्यवस्था बन जाएगा। रिलायंस उत्तर प्रदेश में 10 GW की रिन्यूबल एनर्जी क्षमता को स्थापित करेगा। यह उत्तर प्रदेश में अब तक की सबसे बड़ी अक्षय ऊर्जा परियोजना होगी। कंपनी ने यूपी में बायो-गैस एनर्जी बिजनेस में उतरने की घोषणा भी की। इस पर मुकेश अंबानी ने कहा कि बायो-गैस से पर्यावरण में सुधार तो होगा ही किसानों को भी बड़ा लाभ होगा। हमारे किसान अन्नदाता तो हैं ही, अब ऊर्जादाता भी बनेंगे। मुकेश अंबानी ने कहा कि “नए भारत के लिए उत्तर प्रदेश आशा का केंद्र बन गया है। नोएडा से गोरखपुर तक, लोगों में जोश और उत्साह दिख रहा है। हम सब साथ मिलकर भारत के सबसे अधिक आबादी वाले राज्य को भारत के सबसे समृद्ध राज्यों में से एक में बदल देंगे।

यूपी में 25 हजार करोड़ निवेश करेगा आदित्य बिड़ला समूह


उत्तर प्रदेश निवेशकों के लिहाज से उत्तम प्रदेश बन चुका है। आदित्य बिड़ला समूह यूपी में 25 हजार करोड़ रुपये का निवेश करेगा। कुमार मंगलम बिड़ला ने कहा कि भारत दुनिया की सर्वाधिक तेजी से बढ़ती अर्थव्यवस्था वाला देश है। जिसमें यूपी का अहम योगदान है। उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के नेतृत्व में प्रदेश का अभूतपूर्व विकास हो रहा है। यूपी में हाईवे का जाल बिछ रहा है। मेट्रो और एयरपोर्ट बन रहे हैं। ढांचागत बुनियादी सुविधाओं पर ध्यान दिया जा रहा है। ईज ऑफ डूइंग बिजनेस में यूपी दूसरे स्थान पर है। उन्होंने यूपी सरकार के निवेश मित्र पहल की जमकर तारीफ की। कहा कि यूपी ने निवेश के लिए नई नीति जारी की है। पिछले तीन साल की अवधि में सितंबर 2022 तक यूपी में 1.1 बिलियन डॉलर एफडीआई आया। यह पिछले दो दशकों में सर्वाधिक है। बिड़ला ने कहा कि आदित्य बिड़ला समूह यूपी में सीमेंट, मेटल, केमिकल, फाइनेंस सर्विस और अक्षय ऊर्जा के क्षेत्र में 25000 करोड़ रुपये निवेश करेगा।

यूपी जीआईएस में आना सौभाग्य की बात – चन्द्रशेखरन


टाटा संस के चेयरमैन एन चंद्रशेखरन ने कहा कि ग्लोबल इन्वेस्टर्स समिट में आना हमारे लिए सौभाग्य की बात है। उन्होंने उत्तर प्रदेश में सुदृढ़ कानून व्यवस्था और मजबूत बुनियादी ढांचे के लिए मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ को धन्यवाद दिया। टाटा संस के चेयरमैन ने कहा कि उत्तर प्रदेश में टाटा समूह की मौजूदगी का लंबा इतिहास रहा है। आज यूपी में टाटा संंस में 50,000 से ज्यादा लोग काम करते हैं। पिछले कुछ वर्षों में था विकसित हुए निवेश फ्रेंडली माहौल के बाद हम यूपी में अपनी सभी कंपनियों में भारी विस्तार कर रहे हैं। टीसीएस के माध्यम से नोएडा में हम भारी निवेश कर रहे हैं। मुझे यह कहते हुए खुशी हो रही है कि हम नए जेवर हवाई अड्डे में ज्यूरिख के अपने भागीदारों के साथ एक एकीकृत मल्टी मोडल एयर कार्गो का निर्माण करने जा रहे हैं।इस अवसर पर निर्माणाधीन जेवर (नोएडा) इंटरनेशनल एयरपोर्ट की ऑपरेशनल पार्टनर कम्पनी ज्यूरिख एयरपोर्ट (एशिया) के मुख्य कार्यकारी अधिकारी (सीईओ) डैनियल बर्चर व मोबाइल कम्पोनेंट निर्माता डिक्सन मोबाइल के चेयरमैन सुनील वाचानी ने भी अनुभव साझा कर भावी निवेश योजनाओं की जानकारी दी।

25 करोड़ जनता की आकांक्षाओं और युवाओं की अपेक्षाओं को पूरा करने का माध्यम बना जीआईएस-2023। सभी विभागों में होगा ‘इन्वेस्टमेंट इम्प्लीमेंटेशन यूनिट” का होगा गठन।मुख्यमंत्री का निर्देश, लंबित न हो जीआईएस में मिले निवेश प्रस्तावों से जुड़ी फाइल,’सिक यूनिट’ की उपयोगिता के लिए शीघ्र तैयार करें नीति।16 लाख करोड़ से अधिक के 13 हजार से अधिक ऐसे प्रस्ताव, जो तत्काल जमीन पर उतरने को तैयार। निवेश प्रस्तावों के क्रियान्वयन के लिए वरिष्ठ अधिकारियों को मिलेगी जिम्मेदारी, तय होगी जवाबदेही। हर निवेश प्रस्तावों के लिए तय करें टाइमलाइन, विदेशी निवेशकों के लिए स्थापित करें कॉल सेंटर। रिकॉर्ड निवेश प्रस्ताव प्राप्त करने के बाद अब जमीनी क्रियान्वयन पर मुख्यमंत्री का जोर। जीआईएस में 10 कन्ट्री पार्टनर, 40 देशों के 1000 से अधिक विदेशी प्रतिनिधियों, पार्टनर कंट्री के 04 मंत्रीगण, 17 केंद्रीय मंत्रीगणों, 05 राजदूतों/उच्चायुक्तों और 25000 से अधिक डेलीगेट्स सहित राष्ट्रीय-अंतर्राष्ट्रीय निवेशकों ने किया सहभाग। मैन्युफैक्चरिंग, ग्रीन एनर्जी, ई0वी0, टेक्सटाइल, फ़ूड प्रोसेसिंग, सर्कुलर इकोनाॅमी, स्वास्थ्य, शिक्षा सहित प्रत्येक सेक्टर में उद्यमियों की रुचि। 02 लाख 80 हजार करोड़ रुपये मूल्य के 29 एम0ओ0यू0 पब्लिक सेक्टर यूनिट, निवेशकर्ता इन प्रोजेक्ट पर तत्काल काम शुरू करने को तैयार। सरकार के साथ मिलकर पी0पी0पी0 मोड पर विकास कार्यों के लिए 02 लाख 45 हजार करोड़ रु0 के 99 एम0ओ0यू0 हुए। आगामी छह माह में निवेश प्रस्तावों को जमीन पर उतारते हुए ग्राउंड ब्रेकिंग सेरेमनी का आयोजन किया जाएगा। निवेश प्रस्तावों के क्रियान्वयन, सतत मॉनीटरिंग के लिए सभी विभागों में ’इन्वेस्टमेंट इम्प्लीमेंटेशन यूनिट’’ का गठन किया जाए। हर एम0ओ0यू0 के लिए नोडल अधिकारी नामितकी जाए, हर एक प्रस्ताव की टाइमलाइन तय कर दी जाए निवेशकों की सुगमता के लिए मुख्यमंत्री उद्यमी मित्र योजनांतर्गत ’उद्यमी मित्रों’ की तत्काल तैनाती कर दी जाए। राष्ट्रीय स्तर पर 10 उद्यमी मित्र, अथॉरिटी लेवल पर न्यूनतम 25 और हर जिले में न्यूनतम एक उद्यमी मित्र की तैनाती कर दी जाए। एम0ओ0यू0 के क्रियान्वयन के लिए सभी विभागों में आवेदन का प्रारूप एक जैसा हो प्रदेश में पर्याप्त लैंडबैंक उपलब्ध है, निवेशकर्ता की रुचि, प्रोजेक्ट की आवश्यकता के अनुसार भूमि उपलब्ध हो, इसके लिए और प्रयास करना होगा।

UP में निवेश की बहार
UP में निवेश की बहार

यूपी को मिलेगा सबसे ज्यादा लाभ


डेडिकेटेड फ्रेट कॉरिडोर कॉर्पोरेशन ऑफ इंडिया लिमिटेड के मैनेजिंग डायरेक्टर आरके जैन ने निर्माणाधीन फ्रेट कॉरिडोर के बारे में विस्तार से जानकारी दी। उन्होंने बताया कि भारत सरकार द्वारा दो डेडिकेटेड फ्रेट कॉरिडोर द्वारा ईस्टर्न डेडिकेटेड फ्रेट कॉरिडोर और वेस्टर्न डेडिकेटेड फ्रेट कॉरिडोर बनाए जा रहे हैं। ईस्टर्न डेडिकेटेड फ्रेट कॉरिडोर पंजाब में साहनेवाल (लुधियाना) से शुरू होकर पश्चिम बंगाल के दनकुनी में समाप्त होता है। इसी तरह, 1504 किलोमीटर लंबा वेस्टर्न डेडिकेटेड फ्रेट कॉरिडोर, जवाहरलाल नेहरू पोर्ट टर्मिनल (महाराष्ट्र) से दादरी (उत्तर प्रदेश) तक है और यह देश के प्रमुख बंदरगाहों से होकर गुज़रता है। ईस्टर्न डेडिकेटेड फ्रेट कॉरिडोर और वेस्टर्न डेडिकेटेड फ्रेट कॉरिडोर को आपस में जोड़ने के लिये उत्तर प्रदेश के दादरी और खुर्जा के बीच एक खंड निर्माणाधीन है। दोनों कॉरिडोर का सीधा लाभ उत्तर प्रदेश को मिलेगा। निवेशकों के लिए यह शानदार मौका होगा। उन्होंने कहा कि डेडिकेटेड फ्रेट कॉरिडोर भारत के परिवहन क्षेत्र में बड़ा सुधार करेगा और भारतीय रेलवे के ट्रंक मार्गों की क्षमता में बढ़ोतरी करेगा, क्योंकि इस मार्ग पर माल गाड़ियां बिना किसी रोक-टोक के स्वतंत्र रूप से आवागमन कर सकेंगी। वर्तमान में भारतीय रेलवे नेटवर्क पर चलने वाली लगभग 70 प्रतिशत माल गाड़ियां डेडिकेटेड फ्रेट कॉरिडोर पर स्थानांतरित कर दी जाएंगी, जिससे यात्री ट्रेनों को अधिक रास्ता मिल सकेगा। यही नहीं, डेडिकेटेड फ्रेट कॉरिडोर रेल लाइन को भारतीय रेलवे की अन्य रेल लाइनों की तुलना में अधिक भार उठाने के लिये डिज़ाइन किया गया है, जो कि व्यावसायिक एवं व्यापारिक दृष्टि से भी काफी महत्त्वपूर्ण है। उन्होंने कहा कि इस नए फ्रेट रेल मार्ग से भारतीय रेलवे की मुख्य लाइनों पर अधिक गाड़ियाँ चलाई जा सकेंगी, जिससे भारतीय ट्रेनें अधिक समयबद्ध हो सकेंगी।

 यूके गवर्नमेंट का आभार व्यक्त करते हुए कहा कि जीआईएस-23 को सफलता की नई ऊंचाई तक पहुंचाने में यूके की पार्टनर कंट्री के रूप में सहभागिता और योगदान हमारे लिए अनुकरणीय है। प्रदेश को विकास की नई उड़ान देने के लिए जिन 25 सेक्टर्स पर फोकस किया गया है उनमें डिफेंस एंव एयरोस्पेस पहली प्राथमिकता पर है, जिसे तेजी के साथ विकास के पथ पर हम भारत सरकार के साथ मिलकर आगे बढ़ा रहे हैं। वहीं प्रदेश सरकार ने भी अपनी डिफेंस एंड एयरोस्पेस को लेकर एक नीति जारी की है, जिसके अंतर्गत हम उन संभावनाओं को आगे बढ़ाने का कार्य कर रहे हैं, जिससे प्रदेश इस सेक्टर में हब के रूप में विकसित होकर उभरे। योगी ने कहा कि प्रदेश सरकार इस नीति के तहत हर एक निवेशक को प्रदेश के अंदर सुरक्षित निवेश की गारंटी देने के साथ प्रदेशवासियों के लिए फलदाई बनाने और आगे बढ़ाने के लिए पूरी तरह से प्रतिबद्ध है। मुझे विश्वास है कि यूके ने पार्टनर कंट्री के रूप में जीआईएस-23 में जो अपना योगदान दिया है उससे न केवल डिफेंस एयरोस्पेस की फील्ड में बल्कि फूड प्रोसेसिंग के फील्ड में इसे बेहतर तरीके से आगे बढ़ाने में प्रदेश सरकार से उन्हे पूरा सकारात्मक सहयोग प्राप्त होगा। यूके डेलिगेशन को आश्वस्त करते हुए कहा कि प्रदेश में होने वाला हर निवेश न केवल सुरक्षित होगा बल्कि निवेशक के लिए भी फलदाई बनाने में राज्य सरकार अपनी पॉलिसी के तहत भरपूर मदद करेगी।

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