आसन से एनर्जी भरी रहेगी बॉडी

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  • के0 डी0 मिश्रा

सूर्य नमस्कार- सूर्य नमस्कार को सभी योगासनों में सबसे ज्यादा पावरफुल माना जाता है. सूर्य नमस्कार ऐसा योग है जो आपको शारीरिक और मानसिक रूप से स्वस्थ रखता है. पर सूर्य नमस्कार को करने का सही तरीका बहुत कम लोग जानते हैं.

सूर्य नमस्कार के फायदे- सूर्य नमस्कार करने से स्ट्रेस दूर होता है, बॉडी डिटॉक्स होती है और मोटापा घटता है. जिन महिलाओं को मासिक धर्म की समस्या है यह उनके लिए काफी लाभकारी होता है. रीढ़ की हड्डी मजबूत होती है.

प्रणाम आसन- इस आसन को करने के लिए सबसे पहले अपने दोनों पंजे जोड़कर अपने आसन मैट के किनारे पर खड़े हो जाएं. फिर दोनों हाथों को कंधे के समान्तर उठाएं और पूरा वजन दोनों पैरों पर समान रूप से डालें. दोनों हथेलियों के पृष्ठभाग एक दूसरे से चिपकाए रहें और नमस्कार की मुद्रा में खड़े हो जाएं.


हस्ततुन्नासन- इस आसन को करने के लिए गहरी सांस भरें और दोनों हाथों को ऊपर की ओर उठाएं. अब हाथ और कमर को झुकाते हुए दोनों भुजाओं और गर्दन को भी पीछे की ओर झुकाएं.
हस्तपाद आसन: इस आसन में बाहर की तरफ सांस छोड़ते हुए धीरे-धीरे आगे की तरफ नीचे की ओर झुकें. अपने दोनों हाथों को कानों के पास से घुमाते हुए ज़मीन को छूएं.

अश्व संचालन आसन- इस आसन में अपनी हथेलियों को ज़मीन पर रखें, सांस लेते हुए दाएं पैर को पीछे की तरफ ले जाएं और बाएं पैर को घुटने की तरफ से मोड़ते हुए ऊपर रखें. गर्दन को ऊपर की तरफ उठाएं और कुछ देर इसी स्थिती में रहें.

पर्वत आसन- इस आसने को करने के दौरान सांस लेते हुए बाएं पैर को पीछे ले जाएं और पूरे शरीर को सीधी रेखा में रखें और अपने हाथ ज़मीन पर सीधे रखें.

अष्टांग नमस्कार- इस आसन को करते वक्त अपने दोनों घुटने ज़मीन पर टिकाएं और सांस छोड़ें. अपने कूल्हों को पीछे ऊपर की ओर उठाएं और अपनी छाती और ठुड्डी को ज़मीन से छुआएं और कुछ देर इसी स्थिति में रहें.

भुजंग आसन- इस आसन को करते वक्त धीरे-धीरे अपनी सांस छोड़ते हुए छाती को आगे की और ले जाएं. हाथों को ज़मीन पर सीधा रखें. गर्दन पीछे की ओर झुकाएं और दोनों पंजों को सीधा खड़ा रखें.

शवासन- मैट पर पीठ के बल सीधे लेट जाएं और आंखें मूंद लीजिए. पैरों को आराम की मुद्रा में हल्का खोल कर रखें. पैर के तलवे और उंगलियां ऊपर की तरफ होनी चाहिए. हाथों को बगल में रखकर हथेलियों को ऊपर की तरफ खोलकर रखें. पैर से लेकर शरीर के हर भाग पर ध्यान केंद्रित करते हुए धीरे-धीरे सांस अन्दर बाहर करें. धीरे धीरे इसे कम करें. जब शरीर में राहत महसूस हो तो आंखों को बंद करके ही थोड़ी देर उसी मुद्रा में आराम करें.

हनुमान आसन- हनुमान आसन के लिए घुटनों के बल खड़े हो जाएं, दोनों घुटनो में कुछ अंतर रखे. अपने दाहिने पंजे को आगे बढ़ाएं और इस तरह रखें कि एड़ी जमीन को टच करती रहे. अब सांस छोड़ते हुए अपने शरीर के ऊपरी भाग को आगे की ओर झुकाएं और अपने हाथ की उंगलियों से जमीन को छुएं. धीरे धीरे बांये घुटने को पीछे की ओर ले जाएं, पंजे को इस प्रकार रखे कि तलवे ऊपर छत की तरफ हों. दाहिने पैर को आगे बढ़ाते हुए पूरा जमीन पर रख दें. अगर आपको घुटने कमर की दिक्कत हो तो ये व्यायाम ना करें.

टरफ्लाई आसन- बटरफ्लाई आसन को तितली आसन भी कहते हैं. महिलाओं के लिए ये आसन विशेष रूप से लाभकारी है. बटरफ्लाई आसन करने के लिए पैरों को सामने की ओर फैलाते हुए बैठ जाएं,रीढ़ की हड्डी सीधी रखें. घुटनो को मोड़ें और दोनों पैरों को श्रोणि की ओर लाएं. दोनों हाथों से अपने दोनों पांव को कस कर पकड़ लें. सहारे के लिए अपने हाथों को पांव के नीचे रख सकते हैं. एड़ी को जननांगों के जितना करीब हो सके लाने का प्रयास करें. लंबी,गहरी सांस लें, सांस छोड़ते हुए घटनों एवं जांघो को जमीन की तरफ दबाव डालें. तितली के पंखों की तरह दोनों पैरों को ऊपर नीचे हिलाना शुरू करें. धीरे धीरे तेज करें. सांसें लें और सांसे छोड़ें. शुरुआत में इसे जितना हो सके उतना ही करें. धीरे-धीरे अभ्यास बढ़ाएं.

मर्कट आसन- मर्कट आसन करने के लिए मैट पर लेट जाएंगे पैर का घुटना ऊपर की तरफ रखें दोनों हाथ बाहर की ओर खुलेंगे दोनों हाथ कंधे के समानांतर बिल्कुल सीधे रहेंगे अब अपने पैर को घुटने से आहिस्ता आहिस्ता ऊपर की ओर मोड़ें इसके बाद दोनों पैर के घुटने को दाहिनी तरफ फर्श से लगा देंगे या क्रिया 4 से 5 सेकंड तक ऐसे ही फर्श पर स्पर्श रखेंगे और चेहरा विपरीत दिशा में घुमा देंगे अब धीमे-धीमे दोनों पैर को ऊपर की ओर और चेहरा सामने की ओर लाएं. अब ठीक किसके विपरीत करेंगे.

मर्कट आसन के लाभ- मर्कट आसन से रीढ़ की हड्डी लचीली होगी साथ ही पीठ संबंधी सभी परेशानियों से छुटकारा मिलेगा. जांघे भी शेप में आएंगी साथ ही आपका शरीर भी फुर्तीला होगा.

नोट-गर्भवती महिलाएं सूर्य नमस्कार ना करें, उच्च रक्ताचाप के मरीजों को सूर्य नमस्कार ना करें, अगर आपको पीठ का दर्द रहता है तो सूर्य नमस्कार करने से पहले स्पेशलिस्ट की सलाह लें.