कर्मचारियों के पेंशन निस्तारण के लिए ई-पेंशन पोर्टल क्रियाशील

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राज्य सरकार की सेवा से सेवानिवृत्त होने वाले कर्मचारियों के पेंशन दावों के निस्तारण के लिए ई-पेंशन पोर्टल क्रियाशील।शासन के समस्त अपर मुख्य सचिव, प्रमुख सचिव, सचिव सहित प्रदेश के समस्त विभागाध्यक्षों एवं कार्यालयाध्यक्षों को ऑनलाइन पोर्टल सेवा द्वारा पेंशन प्रबन्धन एवं नियंत्रण के सम्बन्ध में दिशा-निर्देश दिये गये।ऑनलाइन प्रणाली का उद्देश्य सेवानिवृत्त होने वाले कर्मचारियों के पेंशन प्रकरण का समयबद्ध निस्तारण करना सम्बन्धित कर्मचारी द्वारा ई-पेंशन पोर्टल के डाउनलोड लिंक https:// epension.up.nic.in/downloads पर जाकर  सम्पूर्ण प्रक्रिया का डेमो तथा प्रत्येक चरण के लिए निर्धारित समयावधि एवं उत्तरदायी प्राधिकारी का विवरण देखा जा सकता।पी0पी0ओ0 निर्गत हो जाने के उपरान्त ग्रेच्युटी तथा राशिकरण का भुगतान सेवानिवृत्ति तिथि के अगले तीन कार्य दिवसों  में तथा पेंशन प्रारम्भ होने की नियत तिथि को पेंशनर के बैंक खाते में पेशन का भुगतान ऑनलाइन कर दिया जायेगा।ऑनलाइन ई-पेंशन पोर्टल के द्वितीय चरण में उक्त व्यवस्था स्वयं के लिए आहरण एवं वितरण अधिकारियों यथा  अखिल भारतीय सेवा के अधिकारियों (आई0ए0एस0, आई0पी0एस0, आई0एफ0एस0) पर भी 01 जुलाई, 2022 से लागू होगी।

 लखनऊ। उत्तर प्रदेश शासन द्वारा राज्य सरकार की सेवा से सेवानिवृत्त होने वाले कर्मचारियों के पेंशन दावों के निस्तारण, पेंशनर से जुड़ी अन्य सेवाओं को सरल, पारदर्शी तथा contactless तरीके से प्रदान किये जाने तथा पूरी प्रक्रिया को कर्मचारी/पेंशनर के लिए सहज बनाये जाने के लिए end-to-end online  समाधान हेतु ई-पेंशन पोर्टल क्रियाशील किया गया है। इस सम्बन्ध में अपर मुख्य सचिव वित्त द्वारा निर्गत एक शासनादेश के माध्यम से शासन के समस्त अपर मुख्य सचिव, प्रमुख सचिव, सचिव सहित प्रदेश के समस्त विभागाध्यक्षों एवं कार्यालयाध्यक्षों को ऑनलाइन पोर्टल सेवा (epension.up.nic.in) द्वारा पेंशन प्रबन्धन एवं नियंत्रण के सम्बन्ध में दिशा-निर्देश दिये गये हैं।शासनादेश के अनुसार ऑनलाइन प्रणाली का उद्देश्य सेवानिवृत्त होने वाले कर्मचारियों के पेंशन प्रकरण का निस्तारण समयबद्ध रूप से किया जाना है। इसके लिए प्रत्येक चरण में जवाबदेही सुनिश्चित करते हुए एवं पूर्ण पारदर्शिता सुनिश्चित की जाएगी। यदि किसी प्राधिकारी द्वारा निर्धारित समयावधि में कार्यवाही पूर्ण नहीं की जाती है, तो सिस्टम द्वारा प्रकरण उच्च स्तर के प्राधिकारी को स्वतः escalate कर दिया जाएगा।

                इस प्रणाली में कर्मचारी के लिए यह आवश्यक है कि उसकी लॉग इन आईडी के क्रियाशील हो जाने के एक माह के अन्दर उसके द्वारा अपने यूनीक इम्प्लॉयमेंट कोड तथा पंजीकृत मोबाइल नम्बर का प्रयोग कर, ई-पेंशन पोर्टल पर डिस्प्ले हो रहे फॉर्म को ऑनलाइन भर दिया जाए। सम्बन्धित कर्मचारी को यह विकल्प उपलब्ध होगा कि वह अपनी सेवा से सम्बन्धित विवरण एवं सुसंगत अभिलेख पोर्टल पर अपलोड कर सकता है। इस सम्बन्ध में ई-पेंशन पोर्टल के डाउनलोड लिंक https:// epension.up.nic.in/downloads पर जाकर सम्पूर्ण प्रक्रिया का डेमो तथा प्रत्येक चरण के लिए निर्धारित समयावधि एवं उत्तरदायी प्राधिकारी का विवरण देखा जा सकता है। इसके अतिरिक्त, पेंशन निदेशालय के स्तर पर गठित हेल्प डेस्क जिसका विवरण पोर्टल के ‘contact us’ (लिंक- https:// epension.up.nic.in/contact)  पर उपलब्ध है, से सम्पर्क कर समाधान प्राप्त किया जा सकता है।

                आहरण एवं वितरण अधिकारी का यह उत्तरदायित्व होगा कि कर्मचारी द्वारा फॉर्म प्रेषित कर दिये जाने के एक माह के अन्दर कर्मचारी से सम्बन्धित विवरण सत्यापित करते हुये अथवा, यथास्थिति, संशोधित करते हुये पेंशन प्राधिकार पत्र (पी0पी0ओ0) निर्गत करने वाले प्राधिकारी को अग्रेषित कर दिया जाये। यदि, उक्त निर्धारित अवधि में ऐसा नहीं किया जाता है, तो कर्मचारी द्वारा भरा गया फॉर्म, पी0पी0ओ0 निर्गत करने वाले प्राधिकारी को स्वतः अग्रेषित हो जाएगा तथा यह माना जायेगा कि पेंशन प्रपत्रों में अंकित विवरणों का सत्यापन आहरण एवं वितरण अधिकारी द्वारा कर लिया गया है। इसकी सूचना विभागाध्यक्ष को आवश्यक कार्यवाही हेतु प्रेषित हो जायेगी।

      यदि, भविष्य में कोई त्रुटि अथवा विसंगति प्रकाश में आती है, जिसके कारण सेवानिवृत्त कार्मिक को अनुमन्यता से अधिक भुगतान हुआ हो तो इसका सम्पूर्ण उत्तरदायित्व आहरण एवं वितरण अधिकारी का होगा। सम्बन्धित विभागाध्यक्ष उस आहरण एवं वितरण अधिकारी के विरुद्ध कार्यवाही करेंगे एवं राज्य सरकार को हुयी आर्थिक क्षति की वसूली आहरण एवं वितरण अधिकारी के वेतन से की जायेगी।आहरण एवं वितरण अधिकारी से पेंशन प्रपत्र प्राप्त हो जाने पर पी0पी0ओ0 निर्गत करने वाले प्राधिकारी द्वारा एक माह के अन्दर परीक्षण कर, पेंशन प्रपत्रों के सही पाये जाने की दशा में पी0पी0ओ0 निर्गत कर दिया जायेगा। यदि पेंशन प्रपत्रों में कोई त्रुटि अथवा कमी परिलक्षित होती है तो पी0पी0ओ0 निर्गत करने वाले प्राधिकारी द्वारा पेंशन प्रपत्रों पर आपत्ति लगाकर वापस नहीं भेजा जायेगा, अपितु आवश्यक संशोधन के साथ पी0पी0ओ0 निर्गत कर दिया जायेगा तथा इस सम्बन्ध में सुस्पष्ट सकारण टिप्पणी पी0पी0ओ0 में अंकित कर दी जायेगी।

    यदि निर्धारित समय सीमा में पी0पी0ओ0 निर्गत करने वाले प्राधिकारी द्वारा उपरोक्तानुसार कार्यवाही नहीं की जाती है तो प्रकरण स्वतः निदेशक, पेंशन को परीक्षण/जाँच के लिए अग्रेषित हो जायेगा। निदेशक, पेंशन द्वारा एक सप्ताह के अन्दर प्रकरण का परीक्षण कर यथेष्ट निर्देश सम्बन्धित प्राधिकारी को निर्गत करते हुए यह सुनिश्चित करेंगे कि तदोपरान्त पी0पी0ओ0 विलम्बतम एक सप्ताह के अंदर निर्गत हो जाए। निदेशक पेंशन पी0पी0ओ0 निर्गत करने वाले प्राधिकारी से विलम्ब के सम्बन्ध में स्पष्टीकरण प्राप्त करेंगे तथा विलम्ब के लिए उत्तरदायित्व निर्धारित करते हुए कार्यवाही करेंगेे।पेंशन प्रपत्रों में अंकित बैंक खाते तथा आई0एफ0एस0 कोड का ऑनलाइन सत्यापन पी0पी0ओ0 निर्गत करने वाले प्राधिकारी द्वारा ई-कुबेर प्रणाली की ‘अकाउण्ट वेरीफिकेशन यूटिलिटी’ का प्रयोग कर किया जायेगा। इस प्रकार सत्यापित बैंक खाते एवं आई0एफ0एस0 कोड का विवरण अनिवार्य रूप में पेंशन भुगतानादेश से लिंक करते हुए सम्बन्धित कोषागार को उपलब्ध कराया जायेगा।

 पी0पी0ओ0 निर्गत हो जाने के उपरान्त ग्रेच्युटी तथा राशिकरण का भुगतान सेवानिवृत्ति तिथि के अगले तीन कार्य दिवसों में तथा पेंशन प्रारम्भ होने की नियत तिथि को पेंशनर के बैंक खाते में पेशन का भुगतान ऑनलाइन कर दिया जायेगा। शासनादेश मंे यह स्पष्ट किया गया है कि प्रथम भुगतान हेतु कोषागार में पेंशनर की व्यक्तिगत उपस्थिति की आवश्यकता नहीं होगी। ऑनलाइन ई-पेंशन पोर्टल के द्वितीय चरण में उक्त व्यवस्था स्वयं के लिए आहरण एवं वितरण अधिकारियों यथा अखिल भारतीय सेवा के अधिकारियों (आई0ए0एस0, आई0पी0एस0, आई0एफ0एस0) पर भी 01 जुलाई, 2022 से लागू होगी। पेंशनरों के अन्य देयों यथा-चिकित्सा व्यय प्रतिपूर्ति तथा न्यायालय अथवा किसी जांच एजेन्सी द्वारा गवाही के लिए बुलाये जाने पर देय यात्रा व्यय का भुगतान भी अगले चरण में जुलाई, 2022 से ई-पेंशन पोर्टल के माध्यम से कराये जाने की व्यवस्था करायी जायेगी।